Spread the love

स्वतंत्र कलम रतलाम/कहते हैं किताबें इन्सानों की सबसे अच्छी दोस्त होती हैं. जैसे व्यक्ति अपने दोस्त का हर पल, हर घड़ी, हर मुश्किल में साथ देते हैं, वैसे ही किताबें भी हर विषम परिस्थिति में मनुष्य की सहायक होती है. किताबों में हर मुश्किल सवाल, परिस्थिति का हल छुपा होता है. इंसान किसी भी दुविधा में रहे, किताबों को पढ़ने से, समझने से उसकी सोच का विस्तार होता है। व्यक्ति के ज्ञान को विस्तार देने के लिए पुस्तकालय बहुत ही उपयोगी माध्यम है. सभी के लिए, सभी विषयों की पुस्तकें खरीदना आसान नहीं है. गरीब लोग महंगी – महंगी किताबें नहीं खरीद सकते. उनके लिए पुस्तकालय, पुस्तकों का बहुत ही सुगम एवं आसान माध्यम है. औसत व निम्न वर्ग का व्यक्ति अपनी रुचि या जरूरत की महंगी सभी किताब नहीं खरीद पाता और पैसे के अभाव में वह ज्ञान और शिक्षा से वंचित रह जाता है. परंतु पुस्तकालय के माध्यम से सभी प्रकार की किताबें एवं उनके ज्ञान का आसानी से लाभ लिया जा सकता है.

पिछले दिनों जब इनरव्हील क्लब रतलाम गोल्ड की सदस्य सर्किल जेल में मिटटी के गणेश बनाने का प्रशिक्षण देने गए थे तब वहा बने पुस्तकालय हेतु पुस्तकों की आवश्यकता जलेर ब्रजेश मकवाने ने जाहिर की थी

इसी को ध्यान में रखते हुए अध्यक्ष सीमा बोथरा द्वारा विभिन्न विषयो की करीब 100 पुस्तके परिरुद्ध बंदियों के ज्ञानवर्धक हेतु वितरित की गई अध्यक्ष सीमा बोथरा ने बताया की पुस्तकें जीवन को रोशनी देती हैं। जब भी किसी को उपहार देने का अवसर मिले तो सभी को पुस्तकें ही उपहार में देनी चाहिए।

जलेर ब्रजेश मकवाने ने पुस्तक प्राप्त कर खुशी जाहिर करते हुए कहा कि अति उपयोगी पुस्तकों के सहयोग से हमारे परिरुद्ध बंदियों का ज्ञानवर्द्धन होगा करेगी जिससे उनमें स्वस्थ प्रतियोगी भावना का विकास होगा। आगे चलकर वे आदर्श नागरिक बन देश की सेवा करेंगे।

इस अवसर पर श्रीमती हेमलता मालपानी, श्रीमती इंदु डांगी सहित अन्य सदस्य मोजूद थे.


Spread the love
Avatar

By Admin

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You missed